हाटकेश्वर नाथ महादेव, रायपुरा
मंदिर अवस्थित है : रायपुर के रायपुरा में, खारुन नदी के तट पर
निर्माण : सन 1402 में ब्रम्हदेव राय के शासन काल में हाजिराज नाईक द्वारा
वर्त्तमान महंत : म. सुरेश गिरी गोस्वामी जी
छत्तीसगढ़ में महादेव का एक प्रसिद्ध मंदिर है जो रायपुर की जीवन दायिनी कही जाने वाली खारुन नंदी के किनारे स्थित है | यहाँ महाशिवरात्रि, कार्तिक पूर्णिमा आदि के अवसरों पर विशाल मेले का आयोजन कई वर्षो से होता आ रहा है |
भगवत गीता में हटकेश्वरनाथ का उल्लेख:
श्रीमद्भागवत गीता के पांचवें स्कंध के 16वें और 17वें श्लोक में हटकेश्वरनाथ का उल्लेख है, जिसमें कहा गया है कि हटकेश्वरनाथ अतल लोक में अपने पार्षदों के साथ निवास करते हैं और जहां स्वर्ण की खान पाई जाती है।
500 सालों से जल रही है अखंड धूनी
मंदिर में 500 साल से लगातार अखंड धुनि प्रज्वलित हो रही है | अनेको भक्त व साधू संत इस अग्नि के ताप से अपने रुद्राक्ष की माला को सिद्ध करके अपने कस्तो का निवारण करते हैं |
लक्ष्मण झूला :
लक्ष्मण झूला |
खारुन का नाम द्वापर में द्वारकी नदी था:
खारुन नदी |
वर्तमान में बहने वाली खारुन नदी को द्वापर युग में द्वारकीनदी के नाम से जाना जाता था। कालांतर में महाकौशल प्रदेश के हैहयवंशी राजा ब्रह्मदेव जब नदी किनारे स्थित घनघोर जंगल में शिकार करने आए थे तब नदी में बहता पत्थर का शिवलिंग नजर आया। उन्होंने इसे स्थापित कर मंदिर का निर्माण करवाया। इन मान्यताओं से विपरीत शासन के दस्तावेजों में 1402 में कल्चुरी शासक भोरमदेव के पुत्र राजा रामचंद्र ने इसका निर्माण करवाया है।
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